कंगुवा फायर सॉन्ग: सूर्या की अभिव्यक्तियों और देवी श्री प्रसाद की संगीत में दिखी आग
कंगुवा का 'फायर सॉन्ग' जारी
साउथ के प्रसिद्ध अभिनेता सूर्या की आगामी फिल्म 'कंगुवा' का बहुप्रतीक्षित 'फायर सॉन्ग' रिलीज हो चुका है। इस गाने को सूर्या के 49वें जन्मदिन के मौके पर रिलीज किया गया, जिसने उनके फैंस के बीच जबरदस्त उत्साह पैदा कर दिया है। 'फायर सॉन्ग' एक बेहद खास गाना है, जिसे प्रसिद्ध संगीतकार देवी श्री प्रसाद ने कंपोज किया है।
सूर्या का दमदार लुक
इस गाने में सूर्या को एक कबीलाई योद्धा के रूप में दर्शाया गया है, जिनकी अभिव्यक्तियों ने गाने में आग लगा दी है। गाने में सूर्या एक दुर्गम और कठोर वेशभूषा में नजर आए, जिसमें वह अपने कबीले के साथ नाचते हुए एक युद्ध गान गा रहे हैं। सूर्या का यह लुक बेहद शक्तिशाली और आकर्षक है, जिसने दर्शकों का ध्यान अपनी ओर आकर्षित किया है।
देवी श्री प्रसाद का संगीत
गाने की सबसे बड़ी खासियत है उसकी संगीत, जिसे देवी श्री प्रसाद ने बेहद जोश और उत्साह के साथ बनाया है। गाने की धुनें और तालें दिल को झकझोर देने वाली हैं, जो हर किसी को नाचने पर मजबूर कर देती हैं। देवी श्री प्रसाद ने इस गाने के माध्यम से सूर्या के किरदार की आदिवासी और जंगली प्रकृति को बेहतरीन तरीके से उभारा है।
फिल्म की कहानी और अन्य कलाकार
फिल्म 'कंगुवा' का निर्देशन प्रसिद्ध निर्देशक सिरुथाई सिवा ने किया है। इस फिल्म में सूर्या के अलावा बॉबी देओल, दिशा पटानी, नटराजन सुब्रमण्यम, जगपति बाबू और योगी बाबू भी महत्वपूर्ण भूमिकाओं में नजर आएंगे। हर कलाकार ने अपने-अपने किरदारों में जान डाल दी है और दर्शकों को एक अनूठा अनुभव देने का वादा किया है।
कई भाषाओं में रिलीज
इस 'फायर सॉन्ग' को कई भाषाओं में रिलीज किया गया है, जिससे इसके प्रति दर्शकों की प्रत्याशा बढ़ गई है। गाने के अलग-अलग भाषाओं में रिलीज होने का कारण है फिल्म की व्यापक पहुंच और दर्शकों का विविधता। 'कंगुवा' की यह बहुभाषीय रिलीज़ ने इसे और भी खास बना दिया है।
रिलीज डेट और प्रमोशन
फिल्म 'कंगुवा' 10 अक्टूबर को सिनेमाघरों में रिलीज होने जा रही है। फिल्म की रिलीज से पहले इसके प्रमोशन और गानों की रिलीज ने दर्शकों के बीच उत्साह और प्रत्याशा को नई ऊंचाईयों पर पहुंचा दिया है। 'फायर सॉन्ग' के रिलीज के साथ ही फिल्म के प्रति दर्शकों की उम्मीदें और बढ़ गई हैं।
सुनिश्चित प्रदर्शनों का वादा
'कंगुवा' फिल्म ने अपनी कहानी और शानदार प्रदर्शनों के माध्यम से दर्शकों को बांधे रखने का वादा किया है। सूर्या और अन्य कलाकारों के दमदार प्रदर्शन और देवी श्री प्रसाद के संगीत ने इस फिल्म को दर्शकों की नजर में बेहद महत्वपूर्ण बना दिया है।
सिनेमाघरों में देखने का मौका
10 अक्टूबर को जब फिल्म 'कंगुवा' सिनेमाघरों में रिलीज होगी, तो दर्शकों को इसे बड़े पर्दे पर देखने का मौका मिलेगा। फिल्म की भव्यता, गीत-संगीत और कलाकारों के प्रदर्शन को बड़े पर्दे पर देखने का अनुभव अद्वितीय होगा। सूर्या के फैंस के लिए यह फिल्म एक बड़ा तोहफा है, जिसे वे बिल्कुल भी मिस नहीं करना चाहेंगे।
14 टिप्पणि
Namrata Kaur
जुलाई 24 2024ये गाना सुनकर लगा जैसे जंगल में आग लग गई हो। सूर्या का लुक बिल्कुल रॉकेट स्टार है।
indra maley
जुलाई 25 2024इस गाने में आदिवासी आत्मा की आवाज़ सुनाई देती है जो आधुनिकता के शोर में खो गई थी। ये सिर्फ एक गाना नहीं एक विरासत है।
Kiran M S
जुलाई 26 2024अगर तुम्हें लगता है कि ये गाना बस बॉलीवुड का एक और धमाका है तो तुम बहुत पीछे हो। ये तो एक सांस्कृतिक क्रांति है। देवी श्री प्रसाद ने जो किया है वो कोई आम गाना नहीं।
Paresh Patel
जुलाई 28 2024मैंने इसे एक बार सुना और पूरा दिन उसकी धुन दिमाग में घूम रही थी। ये गाना तुम्हें जिंदा महसूस कराता है। कोई भी फिल्म जिसमें ऐसा गाना हो वो जरूर देखनी चाहिए।
anushka kathuria
जुलाई 28 2024फिल्म के प्रमोशन के तरीके और गाने की व्यापक भाषाओं में रिलीज़ दर्शकों के लिए एक उचित और समझदारी भरा निर्णय है।
Noushad M.P
जुलाई 29 2024surya ka look toh bilkul jhatka de diya but music me thoda zyada bass hai na yaar
Sanjay Singhania
जुलाई 30 2024देवी श्री प्रसाद के इस कॉम्पोजिशन में अक्षरशः एथ्नो-रिदमिक डेटा का एक नवीन संरचनात्मक फ्रेमवर्क देखने को मिलता है जो ट्राडिशनल इंडियन फोल्क के डीप लेयर्स को डिजिटल एपिक नैरेटिव के साथ इंटीग्रेट करता है।
Raghunath Daphale
जुलाई 30 2024इतना बड़ा धमाका और फिर भी बॉबी देओल का एक्टिंग बेकार है। 😒 ये फिल्म बस सूर्या के लिए बनाई गई है।
Renu Madasseri
जुलाई 31 2024मैंने इसे अपने दादाजी के साथ देखा और वो रो पड़े। उन्होंने कहा ये गाना उनके बचपन की जंगल की आवाज़ों को याद दिला रहा है। ये गाना बस एक गाना नहीं है।
Aniket Jadhav
अगस्त 1 2024कल रात इसे सुनकर मैं घर के बाहर नाच रहा था और पड़ोसी ने देख लिया 😅 लेकिन मुझे फिर से नाचना होगा।
Anoop Joseph
अगस्त 3 2024अच्छा गाना है। देखने के लिए तैयार हूँ।
Kajal Mathur
अगस्त 5 2024संगीत के बारे में बहुत ज्यादा उत्साह दिखाना अतिशयोक्ति है। यह एक व्यावसायिक उत्पाद है, जिसे बाजार की आवश्यकताओं के अनुसार बनाया गया है।
rudraksh vashist
अगस्त 7 2024ये गाना तो मैंने बार-बार सुना और हर बार नया लगा। फिल्म जरूर देखूंगा।
Archana Dhyani
अगस्त 8 2024यहाँ तक कि इस गाने के वीडियो में भी विश्लेषणात्मक रूप से देखा जाए तो एक जटिल सांस्कृतिक लिखावट का प्रतिनिधित्व होता है जो आधुनिक भारतीय सिनेमा के नवीनतम आयामों को दर्शाता है। इस गाने में शामिल विभिन्न आदिवासी संगीत तत्वों का विस्तृत अध्ययन करना आवश्यक है, क्योंकि यह एक ऐसा अवसर है जिसके माध्यम से हम भारतीय संस्कृति के अंतर्निहित गहरे तत्वों को फिर से खोज सकते हैं। इस तरह की रचना को बस एक गाना कहना अत्यंत उपेक्षापूर्ण होगा। इसके बारे में लिखे गए अध्ययन आने वाले वर्षों में एक नया शोध क्षेत्र बन सकते हैं।